विवाह में मुहूर्त का महत्व पारस राम वशिष्टज्योतिषीय दृष्टिकोण से कुंडली मिलानी चाहिए या नहीं। ऐसे कुछ प्रश्न आज हमारे सामने हैं जिन्हें लेकर हम तथा समाज दुखी है ऐसा क्यों? आइए कारण ढूंढ़ते हैं। कुंडली मिलान करने के पश्चात शादी की तारीख पक्की की जाती है। एक तो ज्यादातर शाद... और पढ़ेंज्योतिषविवाहमुहूर्तजनवरी 2007व्यूस: 4433
जीवन में मुहूर्त की उपयोगिता बी.एल शर्मासमय की गति को पहचाने बिना जब कोई कार्य किए जाते हैं तो उनमें निष्फलता की संभावना ज्यादा रहती है। इसलिए प्रत्येक कार्य की सहज सिद्धि के लिए शुभ मुहूर्त का उल्लेख शास्त्रों में किया गया है। आइए जानें कौन सी तिथि, वार, किस प्रकार के ... और पढ़ेंज्योतिषमुहूर्तजून 2011व्यूस: 7025
सफलता का प्रथम सोपान श्रेष्ठ मुहूर्त अशोक शर्मासर्वार्थ सिद्धि योग, द्विपुष्कर योग, त्रिपुष्कर योग शुभ योग मुहूर्त की श्रेणी में आते हैं। कुछ कार्यों के लिए इन मुहूर्तों का चयन कर सफलता प्राप्त की जा सकती है।... और पढ़ेंज्योतिषमुहूर्तभविष्यवाणी तकनीकजून 2011व्यूस: 7640
विवाह मेलापक में प्रमुख दोष आर. के. शर्माविवाह का शुभ मुहूर्त निकालने के लिए किन किन बातों का ध्यान रखना चाहिए क्या-क्या वर्जित है और विहित है ? अशुभ समय में किए गए कार्यों के कठिन परिणाम एवं अभिजित और गोधूलि लग्न की विशेषताओं का मुहूर्त में महत्व जानिए इस लेख द्वारा... और पढ़ेंज्योतिषकुंडली मिलानविवाहमुहूर्तभविष्यवाणी तकनीकजून 2011व्यूस: 8789
मुहूर्त का महत्व क्यों और कैसे ? बसंत कुमार सोनीआइए जानते हैं मुहूर्त के सभी घटक पंचांग, आदि की शुभ और अशुभता का स्वरूप क्या है और उससे कार्य को क्या दिशा और दशा प्राप्त होती है।... और पढ़ेंज्योतिषमुहूर्तभविष्यवाणी तकनीकजून 2011व्यूस: 7258
लोक विख्यात मुहूर्त बसंत कुमार सोनीअभिजित मुहूर्त स्वयं में सिद्ध मुहूर्त है इनमें कोई भी शुभ तथा मांगलिक कार्य पंचांग एवं ज्योतिषीय परामर्श के बिना ही किए जा सकते हैं। इस लेख को पढ़कर उसकी जानकारी प्राप्त करके उसका लाभ उठाया जा सकता है।... और पढ़ेंज्योतिषमुहूर्तभविष्यवाणी तकनीकजून 2011व्यूस: 9098
सात ग्रहों का सत्कार - संतुलित आहार अजय चंवेलमानव शरीर पांच भौतिक तत्वों-पृथ्वी, जल, वायु, अग्नि एवं आकाश से बना है। इन पांचों तत्वों की क्षतिपूर्ति के लिए मनुष्य को संतुलित भोजन की आवश्यकता होती है। भोजन के अभाव में मानव शरीर रूग्ण हो जाता है। संतुलित भोजन के मु... और पढ़ेंस्वास्थ्यउपायमंत्रमुहूर्तग्रहमई 2013व्यूस: 4738
विवाहादि शुभ मुहूर्त : महत्व, साधन एवं दोष परिहार महेश चंद्र भट्टविवाह मेलापक एवं मुहूर्त साधन जैसे शुभ कार्यों में अत्यधिक सावधानी की आवश्यकता होती है। छोटी सी असावधानी अनेक प्रकार के दोषों का सृजन करती है। प्रस्तुत लेख में कुछ ऐसे ही दोषों एवं उनके परिहार की विधि बताई गई है।... और पढ़ेंज्योतिषकुंडली मिलानविवाहमुहूर्तभविष्यवाणी तकनीकजून 2011व्यूस: 10902
विवाह का काल निर्धारण सुरेश आत्रेयज्योतिष शास्त्र में संभावित घटना का काल निर्धारण सर्वाधिक दुस्साध्य प्रक्रिया है क्योंकि काल को परमशक्ति का प्रतिरूप स्वीकारा गया है, अतएव रहस्यात्मकता के अतिगोपनीय विश्व के सूत्रों का सम्यक् उद्घाटन दुष्कर कर्म है। विवाह जैसे महत... और पढ़ेंज्योतिषज्योतिषीय योगकुंडली व्याख्याघरविवाहमुहूर्तग्रहभविष्यवाणी तकनीकजुलाई 2013व्यूस: 10894
पंचांग विनय गर्ग‘लियोपाम' द्वारा पंचांग की जानकारी भी एक महत्वपूर्ण उपलबिध है। आपको भिन्न भिन्न प्रकारों के पंचांगों को खरीदने एवं उनके रख रखाव आदि की चिंता से हटकर, शुद्धता की गारंटी भी मिलती है।... और पढ़ेंज्योतिषविविधमुहूर्तपंचांगअप्रैल 2010व्यूस: 10492
मुहूर्त बोध में भद्रा विचार रश्मि चैधरीभद्रा पंचांग के पांच अंगों में से एक अंग करण पर आधारित है यह एक अशुभ योग है। भद्रा में विष्टिकरण, किसी को दंड देना इत्यादि दुष्ट कर्म तो किये जा सकते हैं परंतु किसी भी मांगलिक कार्य के लिए भद्रा सर्वथा त्याज्य है।... और पढ़ेंज्योतिषमुहूर्तपंचांगभविष्यवाणी तकनीकजून 2011व्यूस: 11341
शुभ मुहूर्त मानोगे तो भाग्य बदलेगा बी.एल शर्मामुहूर्त बताते हैं कि घड़ियों का लाभ किस तरह उठाया जा सकता है और अशुभ घड़ियों से किस तरह बचा जा सकता है। जन्मपत्रिका यदि शिक्षा में बाधा का स्पष्ट संकेत देती है, तो शुभ मुहूर्त में शिक्षारंभ उन बाधाओं का प्रभाव न्यूनतम कर सकता है।... और पढ़ेंज्योतिषमुहूर्तमई 2013व्यूस: 10897