व्यवसायी बनने के योगों का निर्धारण एवं प्रतिपादन सुशील अग्रवालन हि कश्चित् क्षणमपि जातु तिष्ठत्यकर्मकृत्। कार्यते ह्यवशः कर्म सर्वः प्रकृतिजैर्गुणैः।। अर्थात, कोई भी व्यक्ति एक क्षण के लिए भी बिना कर्म किए नहीं रह सकता। सभी अपने स्वभाव से उत्पन्न राग-द्वेष आदि गुणों के अधीन होकर कर्म में प... और पढ़ेंज्योतिषज्योतिषीय योगभविष्यवाणी तकनीकजुलाई 2016व्यूस: 5754
रुद्राक्ष कहां पाए जाते हैं? फ्यूचर पाॅइन्टप्रश्न: रुद्राक्ष कहां पाए जाते हैं? इनकी कितनी किस्में होती हैं? असली एवं नकली रुद्राक्ष की क्या पहचान है?... और पढ़ेंज्योतिषज्योतिषीय विश्लेषणभविष्यवाणी तकनीकरूद्राक्षआगस्त 2006व्यूस: 4324
ज्योतिष एवं आयुर्विज्ञान अविनाश सिंहज्योतिष एवं आयुर्वेद में काफी समानता है। आयुर्वेद जहां रोगों के ज्योतिष एवं आयुर्वेद में काफी समानता है। आयुर्वेद जहां रोगों के उपचार करने में सक्षम है वहीं ज्योतिष शास्त्र व्यक्ति को किस समय कौन सा रोग होगा इसकी जानकारी देता है... और पढ़ेंज्योतिषज्योतिषीय विश्लेषणभविष्यवाणी तकनीकसितम्बर 2006व्यूस: 5420
मानव जीवन में ज्योतिष शास्त्र की सार्थकता ओम प्रकाश दार्शनिकज्योतिष शास्त्र का मानव जीवन में अत्यंत महत्वपूर्ण स्थान है। ईश्वर ने प्रत्येक मानव की आयु की रचना उसके पूर्व जन्म के कर्मों के अनुसार की है, जिसे कोई भी नहीं बदल सकता विशेषरूप से मनुष्य के जीवन की निम्नांकित तीन घटनाओं को ... और पढ़ेंज्योतिषखगोल-विज्ञानटैरोअप्रैल 2015व्यूस: 10747
वास्तु शास्त्र की भूमिका फ्यूचर समाचारमानव शरीर इस सृष्टि के ही अंगभूत पंच तत्वों यथा पृथ्वी, जल आकाश, अग्नि और वायु ये पंच महाभूत नैसर्गिक ऊर्जाओं के साथ मिलकर महत्वपूर्ण भूमिका अदा करते हैं। हम इस धरा पर कहीं भी निवास करें, अपनी जीवन शैली को इन पंच तत्वों व नैसर्गिक... और पढ़ेंज्योतिषदिसम्बर 2011व्यूस: 9338
उत्तर-पूर्व में दोष वंश वृद्धि में अवरोध फ्यूचर समाचारघर की अनियमित आकृति जीवन में कठिनाईयां तथा कमियां लाती है।... और पढ़ेंज्योतिषदिसम्बर 2011व्यूस: 6439
राज्य कर्मचारी और कुछ विषिष्ट ज्योतिषीय योग लक्ष्मीनारायण शर्मापदोन्नति, स्थानांतरण, निलंबन और सेवा समाप्ति जैसी चिन्ताएं सभी कर्मचारियों को परेषान करती हैं लेकिन राज्य कर्मचारियों के मामले में ऐसी स्थितियों के लिए जो ज्योतिषीय योग उतरदायी होते हैं उनके बारे में इस लेख में प्रकाष डाला गया है।... और पढ़ेंज्योतिषज्योतिषीय योगभविष्यवाणी तकनीकमार्च 2011व्यूस: 9863
शनिदेव रक्षा करें बसंत कुमार सोनीशनि ग्रह सभी ग्रहों में सबसे मंद गति ग्रह है। इसलिए गोचर में इनके फल का विशेष महत्व है। शनि 12 भावों में गोचर अवधि में किस प्रकार के फल देते हैं। आईये जानें।... और पढ़ेंज्योतिषज्योतिषीय विश्लेषणज्योतिषीय योगनवेम्बर 2011व्यूस: 8116
लियो पाम का नवीनीकरण विनय गर्गफ्यूचर पॉइंट का सर्वोत्तम सॉफ्टवेयर लियो पॉम का अब नवीन मोबाइल संस्करण सभी ज्योतिर्विदों की सेवा के लिए है। इस सॉफ्टवेयर में अनेक नई विशेषताएं व उपयोगिताएं हैं। जिसमें विशेष है- मुहूर्त व विशेष जानते हैं इस लेख में ....... और पढ़ेंज्योतिषविविधमार्च 2010व्यूस: 10499
खिलाड़़ी बनने के विशिष्ट योग कृष्ण मोहन तिवारीकुंडली के विभिन्न भावों एवं ग्रहों की विशिष्ट स्थितियां व्यक्ति में खेलों के प्रति रूझान एवं विशिष्ट क्षमताओं को उत्पन्न करती हैं। यदि किसी के जन्मांग में सफल खिलाड़ी बनने के योग विद्यमान हों तो तदनुकुल उचित प्रशिक्षण के माध्यम से ... और पढ़ेंज्योतिषज्योतिषीय योगकुंडली व्याख्याघरग्रहभविष्यवाणी तकनीकव्यवसायजनवरी 2011व्यूस: 11664
खिलाड़़ी बनने के योग मिथिलेश कुमार सिेहकडली के भावों एवं ग्रहों की विशिष्ट स्थितियां व्यक्ति में खेलों के प्रति रुझान तथा आवश्यक क्षमता उत्पन्न करती हैं। उसमें सफल खिलाड़ी बनने की क्षमताओं का सही आकलन कर लिया जाए, तो इसमें कोई संदेह नहीं कि प्रारंभ से ही उचित प्रशिक्षण ... और पढ़ेंज्योतिषज्योतिषीय योगकुंडली व्याख्याघरग्रहभविष्यवाणी तकनीकव्यवसायअप्रैल 2010व्यूस: 9817
मंगल दोष एवं प्रेम विवाह मुक्ता दीक्षितविवाह संपूर्ण मानव जाति के लिए परमात्मा की एक अनुपम भेंट है. भारत वर्ष में लोग प्राचीन कला से ही विद्या अध्ययन के बाद विवाह करते थे, लेकिन वर्त्तमान समय के युवा वर्ग के बाद विवाह करते थे, लेकिन वर्त्तमान समय के युवा वर्ग यह नहीं म... और पढ़ेंज्योतिषज्योतिषीय योगकुंडली व्याख्याघरविवाहग्रहभविष्यवाणी तकनीकअकतूबर 2011व्यूस: 15752